रंकेश वैष्णव, Barwani. बड़वानी से अनोखा मामला सामने आया था। जहां पर फल, पटाखे की तरह फट रहे थे। इन फलों के फटने के बाद धुंआ भी निकल रहा था। इन फल के फूटने की चपेट में आने से एक व्यक्ति घायल हो गया था। जिसे इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराया गया है। उमेदड़ा गांव में लगे एक पेड़ में लगे ये फल जमीन पर फेंकने पर पटाखों की तरह फूट रहें हैं। जब इन फलों के फूटने से एक ग्रामीण घायल हो गया, और उसे अस्पताल लाया गया, तब जाकर मामले का खुलासा हो सका था। पुलिस और वन विभाग ने मिलकर मामले की जांच की। जांच में हकीकत का पता चला। इन फलों को पानी में डुबोकर इसकी सत्यता परखी गई।
जांच में सच उजागर हुआ
फॉरेस्ट रेंजर असद खान ने बताया कि फलों के फटने का मामला झूठा है क्योंकि जन्हें फल माना जा रहा था, वह फल हैं ही नहीं। यह किसी की शरारत है। उन्होंने मीडिया को बताया कि जब इन फलों को पानी में डाला गया तो इन फलों में लिपटे प्याज के छिलके अलग हो गए। प्याज के छिलके अगल होते ही फल रस्सी बम में बदल गए क्योंकि वह हैं ही रस्सी बम। इससे साफ है कि ये कोई फल नहीं है, बल्कि किसी की शरारत है।
नारियल की तरह दिख रहे बम
उमेदड़ा गांव में शांतिलाल का खेत है। खेत की मेढ़ लगे इस पेड़ में यह फल लगे हुए है। जब शांतिलाल खेत की मेढ़ पर लगे इस पेड़ को काट रहा था, इस दौरान एक फल फट गया। उसकी चपेट में आने से शांतिलाल की एक अंगुली बुरी तरह जख्मी हो गई। लोगों ने मौके पर जाकर देखा तो कुछ फल नीचे पड़े थे, कुछ पेड़ में लगे हैं।
पहले कभी नहीं देखा ऐसा पेड़
इस पेड़ को लेकर DFO एसएल भार्गव का कहना है कि उन्होंने तो ऐसे पेड़ पहले कभी नहीं देखा है। बीट प्रभारी जगदीश मेहता ने मौके पर जाकर निरीक्षण किया है। फल का सैंपल लिया गया है। फल की फोटो जबलपुर वन विभाग को भेजी है। जांच के बाद ही स्थिति साफ हो पाएगी।
अचानक हुआ विस्फोट
घायल शांतिलाल का कहना है कि खेत की मेड पर एक झाड़ा लगा था जिसमें लकड़ी के गोल गोल छोटे-छोटे फल लगे थे पता नहीं कौन सा झाड़ था उसके फल में से ही अचानक विस्फोट हो गया। वहीं पलसूद पुलिस के अनुसार एक फल से विस्फोट हुआ है, विस्फोट क्यों हुआ है और यह कौन सा फल का पेड़ है, इस संबंध में एक्सपर्ट को बुलाकर जांच की जा रही है।